रुद्रप्रयाग के भरदार क्षेत्र के क्वीलाखाल गांव के रहने वाले हैं आर्य भट्ट
ऑडिशन देने के बाद हुए थे फिल्म में दो रोल के लिए सलेक्ट
रुद्रप्रयाग। अपनी काबियलत के दम पर उत्तराखंड के युवा फिल्म जगत में बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं। ऐसी कई फिल्में हैं जिनमें उत्तराखंड के युवाओं का प्रदर्शन शानदार रहा है। चाहे केदारनाथ फिल्म में रुद्रप्रयाग के तीन युवाओं का रोल हो, या फिर हाल ही में रिलीज हुई द कश्मीर फाइल्स में रुद्रप्रयाग के ही युवा आर्य भट्ट द्वारा निभाया गया कश्मीरी पंडित और मौलवी का रोल लोगों को खूब पंसद आ रहा है।
मूल रूप से रुद्रप्रयाग जिले के भरदार क्षेत्र स्थित क्वीलाखाल गांव निवासी आर्य भट्ट देहरादून में एक रंगमंच से जुड़े कलाकार हैं। देहरादून में उन्होंने समय-समय पर अविकल ग्रुप, अनाम संस्था और पर्वतीय रंगमंच से जुड़कर कई नाटक किए। अपने अनुभव के आधार पर द कश्मीर फाइल्स को दिए गए ऑडिशन में उन्हें फिल्म में काम करने का अवसर मिला। फिल्म में तत्तकालीन समय में कश्मीरी पंडितों पर हुए अत्याचार के लिए जहां उन्होंने कश्मीरी पंडित का रोल निभाया। वहीं कश्मीरी पंडितों के प्रति यहां के लोगों को भड़काने के लिए मौलवी का किरदार भी निभाया। फिल्म में अस्पताल में नर्स को गोली लगने के दौरान आर्य भट्ट ने डर और दहशत के बीच की भूमिका को अपनी कला के माध्यम से प्रदर्शित किया। जबकि इसके बाद कश्मीरी पंडितों के प्रति यहां के लोगों को भड़काऊ भाषण देने का किरदार बखूबी निभाया। फिल्म में दोनों रोल में उन्होंने वास्तविक स्थिति को प्रदर्शित करने में कामयाबी पाई। इधर, फिल्म देखने के बाद रुद्रप्रयाग निवासी आर्य भट्ट के रोल को लेकर उत्तराखंड के लोगों ने उनकी प्रसंसा की।
रुद्रप्रयाग के इन युवाओं ने निभाया फिल्मों में रोल
केदारनाथ फिल्म में रुद्रप्रयाग के मंगोली गांव निवासी अक्षत भट्ट ने बाल कलाकार का रोल निभाया। जखोली के महेंद्र पंवार भी हिन्दी फिल्म में काम कर चुके हैं। लॉकडाउन में रुद्रप्रयाग के युवा संतोष, बिट्टू रावत और रजत बर्त्वाल ने भोटिया जनजाति पर आधार पाताल ती फिल्म का निर्माण किया। इस फिल्म के आस्कर पुरस्कार के लिए भेजे जाने की उम्मीद है। इसके अलावा पांडवाज ग्रुप द्वारा भी समय समय पर सार्ट फिल्म, गीत रिलीज किए जा रहे हैं।